खालिस्तान समर्थकों के विरोध के चलते कनाडा में भारतीय उच्चायोग के बाहर बैरिकेड्स

India-Canada: भारत पर खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या का आरोप लगाने के बाद कनाडा बैकफुट पर है।भारत-कनाडा के संबंधों में अब तक का सबसे कठिन मोड़ आया है।

खालिस्तान समर्थक समूह सिख फॉर जस्टिस (SFJ) ने विरोध प्रदर्शन की घोषणा की, जिसके बाद कनाडा के ओटावा, टोरंटो और वैंकूवर में भारतीय दूतावास पर बैरिकेड लगाए गए। सिख फॉर जस्टिस (SFJ) ने डेथ टू इंडिया-बाल्कनाइज अभियान की शुरुआत की है। चरमपंथी संगठन ने कनाडा के बड़े शहरों में भारतीय राजनयिक मिशनों के बाहर विरोध प्रदर्शन का आह्वान किया है।

संघीय और स्थानीय पुलिस भी स्थिति पर नजर रखने के लिए लगाई गई। खालिस्तानी समर्थक समूह ने ब्रिटिश कोलंबिया में हरदीप सिंह निज्जर, एक खालिस्तानी आतंकवादी, की हत्या में भारत के संभावित संबंध का आरोप लगाने के एक सप्ताह बाद अपने सदस्यों से विरोध प्रदर्शन का आह्वान किया।

भारतीय राजदूत को बर्खास्त करने का मुद्दा

रविवार (24 सितंबर) को कनाडा में सिख फॉर जस्टिस के निदेशक जतिंदर सिंह ग्रेवाल ने रॉयटर्स को बताया कि उनका संगठन निज्जर की हत्या पर लोगों को जागरूक करने के लिए टोरंटो, ओटावा और वैंकूवर में भारतीय दूतावासों और वाणिज्य दूतावासों के बाहर प्रदर्शन करेगा। ग्रेवाल ने कहा कि हम कनाडा में भारतीय राजदूत को हटाने की मांग कर रहे हैं।

SFJ भारत में एक प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन है। इसका हिस्सा कनाडा में मारे गए खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर था। साथ ही, समूह के प्रमुख नेता गुरपतवंत सिंह पन्नू ने खुले तौर पर भारत-कनाडाई हिंदुओं को भारत लौटने की धमकी दी। कनाडाई सरकार ने अभी तक इस पर कोई कार्रवाई नहीं की है।

प्रधानमंत्री कनाडाई ट्रूडो का बयान

कनाडाई प्रधानमंत्री ट्रूडो ने पिछले सप्ताह कहा कि कनाडा ने विश्वसनीय आरोप लगाए हैं कि भारत सरकार के एजेंट 18 जून को सरे में खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में शामिल हो सकते हैं। भारतीय खुफिया प्रमुख पवन कुमार राय को इसके बाद कनाडाई विदेश मंत्री ने निष्कासित कर दिया। भारत सरकार ने इसके बाद कनाडा के आरोपों को खारिज कर दिया है और उन्हें गलत बताया है।

भारत ने ट्रूडो के आरोपों के कुछ घंटों बाद कनाडाई राजनयिक ओलिवियर सिल्वेस्टर को निष्कासित कर दिया और कनाडाई नागरिकों को नए वीजा देना बंद कर दिया।

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